BURNING NEWS✍️Rajesh Sharma
जालंधर। जालंधर के वडाला चौक के निकट सिल्वर हाइट्स अपार्टमेंट में नया मामला उजागर हो गया है, जिसमें दिनेश लांबा ने सोसाइटी में रहने वाले करीबि 200 लोगों को मूर्ख बना दिया और पांच साल तक कानून की धज्जियां उड़ाकर सोसाइटी का पदाधिकारी बना रहा। जबकि कानून व नियमों के मुताबिक सोसाइटी में फ्लैट मालिक ही सोसाइटी के किसी पद पर बैठ सकता है, किरायेदार या फिर किसी रिश्तेदार के फ्लैट में रहने वाले को सोसाइटी की बॉडी में कोई पद नहीं मिल सकता लेकिन दिनेश लांबा ने सबको बेवाकूफ बनाकर पांच साल तक एग्जिक्यूटिव की कुर्सी संभाले रखी। अब तक उसके चेहरे से नकाब उतरा तो लांबा पर अपराधिक मामला धारा 420 के तहत केस दर्ज करने की मांग उठने लगी है। मामला बलविंदर प्रधान उर्फ काला के पास पहुंच गया है और सोसाइटी के कई बाशिंदों ने कहा कि उनको मूर्ख बनाने वाले के खिलाफ अपराधिक केस दर्ज करवाया जाए।
दरअसल, दिनेश लांबा एक रबड़ का कारोबारी है और फ्लैट नंबर ई-8 में दूसरी मंजिल पर रहता है। उक्त फ्लैट में लंबे समय से दिनेश लांबा रह रहा है। यह फ्लैट उसकी सास अनिता मरवाहा के नाम पर है। यानी दिनेश लांबा अपने ससुराल के दिये फ्लैट में रह रहा है। नियमानुसार सोसाइटी के चुनाव अनिता मरवाहा ही लड़ सकती है लेकिन दिनेश लांबा ने सबको बेवाकूफ बनाया और कहा कि वह फ्लैट का मालिक है और 2014 व 2019 के चुनाव लड़कर सोसाइटी का एग्जिक्यूटिव मैंबर बना। अब सोसाइटी में बवाल हुआ तो परतें खुलने लगी कि कैसे लांबा ने सारे पढ़े लिखे लोगों को बेवाकूफ बना दिया और चुनाव लड़ता रहा। नियमानुसार लांबा चुनाव नहीं लड़ सकता था। उसने यह तथ्य सबसे छिपाया कि वह अपनी सास के दिये हुए फ्लैट में रह रहा है। उसका मालिकाना हक उसके पास नहीं है। इस बारे में दिनेश लांबा से उनके मोबाइल पर संपर्क करने की कोशिश की गयी लेकिन बात नहीं हो सकी। अगर लांबा अपना पक्ष रखते हैं तो उसको पूरी तरह से छापा जायेगा