BURNING NEWS✍️RAJESH SHARMA
जेल रामलीला मनाने के लिए क़ैदियों का सहारा लिया जा रहा था जिसमें क़ैदियों को अलग-अलग रोल दिए गए थे कि इसी बीच वानरों का रोल करने वाले माता सीता को ढूँढने के चक्कर में जेल से फ़रार हो गए। माता सीता तो मिल गई पर ढूँढने पर भी क़ैदी नहीं मिले।हरिद्वार स्थित रोशनाबाद जेल में रामलीला का मंचन हो रहा था, सीता माता का हरण हो गया था। वानर बने कैदी माते-माते करते हुए खोज रहे थे। चूंकि बंदर बने थे तो दो बाउंड्री पर चढ़ गए। वहां फरार हो गए।
इधर सीता माता मिल गई लेकिन वो वानर रूपी कैदी नहीं मिले। अब पुलिसवाले उन दो लोगों को खोज रहे है, फ़रार दोनो क़ैदी वाल्मीकि गैंग के सदस्य बताये गए हैं,
हरिद्वार स्थित रोशनाबाद जिला कारागार से शुक्रवार देर फरार होने वाले कैदियों में पंकज, निवासी रुड़की और राजकुमार निवासी गोंडा (उत्तर प्रदेश) शामिल हैं. पंकज को हत्या के आरोप में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी, जबकि राजकुमार अपहरण के मामले में विचाराधीन था. इस घटना से जेल की सुरक्षा व्यवस्थाओं पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं और प्रशासन की कार्यप्रणाली की आलोचना हो रही है
जानकारी के अनुसार जेल में रामलीला का आयोजन किया जा रहा था और साथ ही कुछ निर्माण कार्य भी चल रहा था. इस दौरान निर्माण कार्य के लिए एक सीढ़ी का उपयोग हो रहा था, जिसे कैदियों ने मौके का फायदा उठाकर जेल की चारदीवारी पार करने के लिए इस्तेमाल किया. शुक्रवार रात जब अधिकांश जेलकर्मी रामलीला के आयोजन में व्यस्त थे, उसी समय इन दोनों कैदियों ने यह अवसर पकड़ा और फरार हो गए.
इस घटना से यह स्पष्ट होता है कि जेल प्रशासन की ओर से सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए गए थे. खासकर जब जेल परिसर में एक सार्वजनिक आयोजन और निर्माण कार्य दोनों ही साथ में चल रहे थे. रामलीला के दौरान सुरक्षा की अनदेखी और निर्माण कार्य की निगरानी की कमी से यह घटना घटित हुई.
जेल प्रशासन को जैसे ही कैदियों के फरार होने की सूचना मिली तो तुरंत पुलिस को सूचित किया गया. पुलिस ने दोनों कैदियों की तलाश के लिए हरिद्वार जिले और आसपास के इलाकों में सघन तलाशी अभियान शुरू कर दिया है. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि फरार कैदियों की तलाश के लिए विशेष टीमें गठित की गई हैं और रेलवे स्टेशनों, बस स्टैंडों और प्रमुख मार्गों पर भी निगरानी बढ़ा दी गई है।